परमात्मा कभी किसी आत्मा को लकडी से नहीं उनके कर्मो के अनुसार दुख दर्द एवं आपत्ती देता है तो खुद ही पिडा भोगता है यही तो परमात्मा की मार है ..कथाकार पंडित मुकेश नागदा ने हरनावदा में चल रही भागवत कथा के चौथे दिन कहीं…. पूरी खबर पढ़ें राजू जाट | The News Day

हरवार 17जनवरी। चिताखेड़ा के समीप के गांव हरनावदा मे देवनारायण मंदिर प्रागंण मे आयोजित साप्ताहिक श्रीमद भागवत ज्ञान गंगा प्रवचन के चौथे दिन सोमवार को कथाकार पं.मुकेश नागदा उचेड द्वारा अपने मुखारविंद से पंडाल मे उपस्थित श्रोताओं को कथा का रसास्वादन करवाते हुए कहा कि आज मानव माया के माया जाल मे उलझता ही जा रहा हैं ,और भगवान की भक्ति से दुर होता जा रहा हैं।परमात्मा कभी किसी आत्मा को लकडी से नहीं उनके कर्मो के अनुसार दुख दर्द एवं आपत्ति आती हैं तो खुद ही पिडा भोगता है यही तो परमात्मा की मार हैं।
उक्त वाणी कथा वाचक पं. मुकेश नागदा उचेड ने सोमवार को ग्राम हरनावदा के देवनारायण मंदिर पर चल रही श्रीमद भागवत ज्ञान गंगा प्रवचन के दौरान चौथे दिन अपने मुखारविंद से जनसमूह को ज्ञान वर्षा प्रवाहित करते हुए कहे।श्री नागदा ने कहा कि इन्सान को कभी भी किसी भी तरह का अभिमान नही करना चाहिए,अभिमानी व्यक्ति बकरे के समान होता हैं।राजा प्रजापति दक्ष को अभिमान हो गया था,अभिमान के कारण ही प्राण का उत्सर्जन हुआ और पश्चाताप के लिए बकरे का सिर लगाया गया।अगर जल का स्तर नीचे चला जाए तो उससे समाज और संसार को जितना नुकसान नहीं होता उससे कई गुनी हानि वाणी का स्तर निचे गिरने से हो जाता हैं।व्यक्ति को हमेशा मिठी वाणी बोलनी चाहिए। श्रीमद भागवत कथा मे सोमवार को भगवान श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव का वर्णन सुनाया गया ।इस दौरान चलित जिवंत झाकी दिखाई गई।श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव के अवसर पर वासुदेव के रूप मे बद्रीलाल पाटीदार एवं बाल कृष्ण के रूप मे हिमांशु जैन ने सुन्दर पात्र के रूप मे कृष्ण जन्मोत्सव को साकार कर दिया।इस दौरान स्वागतम श्रीकृष्णा सुस्वागतम श्रीकृष्णा…………,गोविंद गोकुल आयो और नंद गयो आनंद भयो…………,म्हारा लाल झूले पलणा झूले …….,आदि कृष्ण भजनों से पंडाल गूंज उठा।यह दृश्य देख भक्त भाव विभोर हो गये।महिलाओं ने पूरे मनोभाव से भगवान श्रीकृष्ण जन्मोत्सव पर नृत्य किया।साप्ताहिक श्रीमद भागवत ज्ञान गंगा महोत्सव मे बडी संख्या मे अंचल के श्रद्धालुओं द्वारा भागवत कथा का रसपान किया जा रहा हैं।श्रीकृष्ण जन्मोत्सव के अवसर पर आरती के पश्चात प्रसाद के रूप मे पंजेरी एवं चरणामृत समाजसेवी जगदीश चंद्र पाटीदार नायनखेडी के सहयोग से वितरण कि गई।प्रतिदिन श्रीमद भागवत ज्ञान गंगा प्रवचन दोपहर 12बजे से शाम 3बजे तक पं मदनलाल नागदा के मुखारविंद से प्रवाहित की जा रही हैं।